जब भी मुझे कहीं अकेले में बैठने का अवसर मिलता है तो मैं महसूस हूँ कि इस सृष्टि के कण - कण में संगीत है. इसमें सुर समाया है . लेकिन हम उस संगीत को अनुभव नहीं कर पाते . आज हम भौतिकता में इतने रम चुके हैं कि हमारे पास कहाँ वक्त है उस संगीत को सुनने, का अनुभव करने का , और दूसरी तरफ हमारी जीवन शैली इस तरह की बन चुकी है कि हम कहाँ ध्यान देते हैं कि इस अखंड ब्रह्माण्ड की रचना में संगीत का अपना महत्व है . "बिंग बैंग" सिद्धांत की यह मान्यता है कि इस सृष्टि का निर्माण जब हुआ था तब भयंकर विस्फोट हुआ था . अगर विस्फोट हुआ तो ध्वनि तो निकली होगी ना और वही ध्वनि इस सृष्टि के निर्माण का आधार है और उस ध्वनि के कुछ अंशों को हम शब्दबद्ध कर संगीत के माध्यम से संगीतमय बनाकर उसका आनंद लेते हैं . यह बात भी कितनी रोचक है कि संगीत की विपुल राशि इन्हीं अक्षरों में समाहित है . सरगम यानि सा , रे , ग , म , प , ध , नि , इन सात अक्षरों में संगीत समाहित है .
इस विषय पर कभी गंभीरता से बात करूँगा ...लेकिन आज आप मेरी पोस्ट "अक्षर साधना" को हिंदी ब्लॉग जगत की चर्चित पॉडकास्टर आदरणीय अर्चना चावजी की कर्णप्रिय आवाज में सुनें . आदरणीय अर्चना जी से जब मैंने इस पोस्ट का पॉडकास्ट तैयार करने के लिए प्रार्थना की तो उन्होंने "मेरे मन की" इस प्रार्थना को सहर्ष स्वीकार कर लिया और इस पोस्ट को अपनी मधुर आवाज देकर मुझे कृतार्थ कर दिया . उनकी आवाज का कायल मैं ही नहीं बल्कि पूरा ब्लॉग जगत है . आवाज ही नहीं बल्कि शब्दों को पढने का उनका अंदाज और वाक्य में शब्दानुरूप उतार - चढ़ाव का भी पूरा ध्यान जो उनकी इस विधा और विशेषज्ञता को सिद्ध करता है ...तो लीजिये प्रस्तुत है अक्षर साधना अब आदरणीय अर्चना चावजी जी कर्णप्रिय आवाज में ....आप उनके प्रोत्साहन के लिए उनके ब्लॉग मेरे मन की पर भी टिप्पणी कर सकते हैं .....!
वाह!
जवाब देंहटाएंकेवलराम जी आपकी शब्दरचना बहुत बढ़िया है और इसको अर्चना चावजी का स्वर मिल जाए तो फिर तो सोने में सुगंध का अनुभव होने लगता है!
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दो पंक्तियों में-
सार्थक लेखन!
अच्छा वाचन!!
सार्थक लेखन!
जवाब देंहटाएंअच्छा वाचन!!
अक्षर=जिसका कभी क्षरण न हो। जो कभी मरता नहीं। प्रलय से परे, जिसका कभी विनाश नहीं होता। पूर्ण है इसलिए अकाल है। अक्षर ही पूर्ण परमात्मा है। परमेश्वर का निज नाम भी ओ3म है। अक्षर उत्पत्ति-स्थिति-विनाश से मुक्त होकर हमेशा ब्रह्माण्ड में स्थित रहता है।
जवाब देंहटाएंअर्चना जी द्वारा सुंदर प्रस्तूति
अक्षर महिमा वर्णन के साथ पोस्ट भी अमर हो गयी।
आभार
सुन्दर शब्द रचना एवं मधुर आवाज
जवाब देंहटाएंनया प्रयोग अच्छा है...अर्चनाजी को और आपको साधुवाद !
जवाब देंहटाएंarchna ji se main bahut prabhawit hun
जवाब देंहटाएंवाह ..आपको इसके लिये बहुत-बहुत बधाई, अर्चना जी का आभार ।
जवाब देंहटाएंआपकी रचना तेताला पर भी है आप भी घूमते हुए आइये स्वागत है
जवाब देंहटाएंhttp://tetalaa.blogspot.com/
सुन्दर शब्द रचना को अगर अर्चना जी की आवाज़ मिल जाए तो सोने में सुहागा हो जाता है..बहुत सुन्दर प्रस्तुति...
जवाब देंहटाएंअच्छी लगी पोस्ट .आपकी रूचि व मधुर संगीत.शुभकामनायें.
जवाब देंहटाएंसार्थक लेखन उपयोगी आलेख और प्रभावी वाचन.
जवाब देंहटाएंवाचन पसंद आया.
जवाब देंहटाएंइतनी सुन्दर शब्द रचना और उसपर अर्चना जी की आवाज़ ..बहुत सुन्दर प्रस्तुति...अपना प्रयास इसी तरह जारी रखें........... शुभकामनाएं........
जवाब देंहटाएंसुर और साहित्य विषय पर आपके विचार जानने की उत्सुकता है....
सुंदर प्रस्तूति
जवाब देंहटाएंछोटी सी उम्र में इतना गहरा चिंतन ।
जवाब देंहटाएंबहुत बढ़िया । और सुन्दर प्रस्तुति अर्चना जी द्वारा ।
केवल राम जी
जवाब देंहटाएंसुन्दर शब्द एवं मधुर आवाज अच्छा प्रयोग है
..........सुंदर प्रस्तूति
अर्चना जी का बहुत-बहुत आभार ।
जवाब देंहटाएंकेवल जी बहुत सुन्दर प्रस्तुति... अस्वस्थता के कारण ब्लॉगजगत से दूर हूँ
जवाब देंहटाएंआज के समय में दूसरों के लिए कार्य करना आश्चर्य ही कहा जाएगा !अर्चना चावजी के लिए हार्दिक शुभकामनायें !!
जवाब देंहटाएंओह्ह.. तो इसलिए...फ़ोटो खोजी जा रही थी..
जवाब देंहटाएं..आप सभी का आभार..आवाज पसन्द करने के लिए....(वैसे आलेख ज्यादा अच्छा है)...
अच्छी पोस्ट को जब मधुर स्वर भी मिल जाए तो कुछ और ही रंगत निखर कर आती है
जवाब देंहटाएंआफरीन,
जवाब देंहटाएंविवेक जैन vivj2000.blogspot.com
केवल राम जी
जवाब देंहटाएंसुंदर प्रस्तूति
पोस्ट करने के लिए आभार
जवाब देंहटाएंवाह बंधुवर अनुभूति के स्तर पर कुछ सुखद घटित हो रहा है अर्चना जी को यूँ सुनना
जवाब देंहटाएंसाधुवाद भाई !
ध्वनि शब्द और अक्षर का ज्ञान और संधान श्रष्टि से ही हुवा और इसी में निहित है ... बहुत ही अच्छा लगा आपका लेख और अर्चना जी का स्वर ..
जवाब देंहटाएंबहुत बढ़िया, शानदार और सार्थक लेखन! प्रशंग्सनीय प्रस्तुती!
जवाब देंहटाएंआपकी रचना और अर्चना जी की आवाज बहुत सुन्दर है |
जवाब देंहटाएंबधाई
आशा
True ,Keval Ramji ,
जवाब देंहटाएंThe remnants of the Big Bang the Background radiation is still there .The Big Bang itself is the Dance of creation .The left over sound is still there .Nature has its own music and reverberation .But unfortunately we come for a walk with ears plugged with I-pods ,and close our selves to the beauties of the cosmos .Shbd Or Nad is brahm .Shbd regulates every thing around us .Good podcast .
Adarniya Bade bhaiya ...
जवाब देंहटाएंSadar Pradam,,,
Apke shabdo me ek dil ki chhuwan hoti hai.
Archna ji ka bhi abhar.
:
Ravi Rajbhar
सुन्दर प्रस्तुति
जवाब देंहटाएंaapki shbd rachna bahut uttam hai aur usme archna ji ki awaj ne charchand laga diye hain
जवाब देंहटाएंaapdono ko badhai
rachana
bahut khoob
जवाब देंहटाएंशब्द और स्वर दोनों बेमिसाल..... बहुत बढ़िया
जवाब देंहटाएंशुक्रवार को आपकी रचना "चर्चा-मंच" पर है ||
जवाब देंहटाएंआइये ----
http://charchamanch.blogspot.com/
आप और अर्चना जी, दोनों को बधाई !
जवाब देंहटाएंसुन्दर को सुन्दरतम बनाने का अभिनव प्रयोग !
आभार !
अच्छी पोस्ट।
जवाब देंहटाएंसार्थक प्रस्तुति।
शुभकामनाएं आपको।
अच्छी पोस्ट को अच्छी आवाज़ में सुनना हिंदी ब्लौगिंग की एक उपलब्धि ही है !
जवाब देंहटाएंhttp://charchamanch.blogspot.com/
जवाब देंहटाएंआज आप चर्चा मंच पर हैं ||
बहुत सुन्दर...अच्छा लगा.
जवाब देंहटाएंअर्चना जी तो अब ब्लॉगजगत कि आवाज़ बन चुकी हैं.
जवाब देंहटाएंबहुत ही अच्छा लगा आपका लेख और अर्चना जी का स्वर| आभार|
जवाब देंहटाएंलेखन और वाचन दोनों ने मन मुग्ध किया
जवाब देंहटाएंशानदार प्रस्तुति केवलरामजी ..सुर और साहित्य का अद्भुत संगम बताने के लिए..वधाई
जवाब देंहटाएंmusic ek aise cheez hai jo aapke bure se bure mood ko bhi badal sakti hai.
जवाब देंहटाएंI am a music freak too :)
SAARTHAK LEKHAN.
जवाब देंहटाएंसुर और साहित्य, दोनों ही सुंदर।
जवाब देंहटाएं------
TOP HINDI BLOGS !
Interesting one
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर अच्छा लगा!
जवाब देंहटाएंमेरी नई पोस्ट पर आपका स्वागत है! मेरा ब्लॉग का लिंक्स दे रहा हूं!
जवाब देंहटाएंहेल्लो दोस्तों आगामी..
बहुत सुन्दर. क्वाँटम भौतिकी भी तो अणु परमाणु के निरन्तर नृत्य में छुपे संगीत की ही बात करता है.
जवाब देंहटाएंबहुत बढ़िया प्रस्तुति...
जवाब देंहटाएंसुन्दर शब्द रचना एवं अर्चना जी द्वारा सुंदर प्रस्तूति.
जवाब देंहटाएंइसके लिये बहुत-बहुत बधाई, और अर्चना जी का आभार .....
waah bahut acchi rachna
जवाब देंहटाएंवाह ..आपको इसके लिये बहुत-बहुत बधाई,
जवाब देंहटाएंआप का बलाँग मूझे पढ कर अच्छा लगा , मैं भी एक बलाँग खोली हू
लिकं हैhttp://sarapyar.blogspot.com/